नेशनल टेक्नोलॉजी डे हर साल 9 मई को मनाया जाता है और भारत में इसका एक महत्वपूर्ण ऐतिहासिक महत्व है। इस दिन को भारत की तकनीकी प्रगति की उपलब्धि के रूप में मनाया जाता है, क्योंकि 11 मई 1998 को देश ने राजस्थान के पोखरण में परमाणु हथियारों का सफलतापूर्वक परीक्षण किया था। यह दिन भारत के पहले स्वदेशी विमान हंसा -3 की उड़ान का भी प्रतीक है, जिसे बेंगलुरु में उड़ाया गया था जब राजस्थान में परमाणु परीक्षण आयोजित किए जा रहे थे।

भारतीय वैज्ञानिकों की कड़ी मेहनत और उपलब्धियों का सम्मान करने के लिए भारत में नेशनल टेक्नोलॉजी डे मनाया जाता है। हर साल इस दिन अधिकारी भारत के वैज्ञानिकों को उनकी उपलब्धियों के लिए सम्मान देते हैं। हम सभी सहमत हो सकते हैं कि टेक्नोलॉजी डवलपमेंट से देश की लाइफस्टाइल को प्रभावित कर रहा है।

इतिहास
नेशनल टेक्नोलॉजी डे का इतिहास हमें 1998 में वापस ले जाता है जब तत्कालीन प्रधान मंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने 11 मई को देश के लिए महत्वपूर्ण उपलब्धि का दिन घोषित किया था।11 मई, 1998 को, भारत ने पोखरण में सफलतापूर्वक परमाणु परीक्षणों की एक श्रृंखला को अंजाम देकर एक बड़ी तकनीकी सफलता हासिल की।
महत्व
हर साल, प्रौद्योगिकी विकास बोर्ड (टीडीबी) तीन श्रेणियों राष्ट्रीय पुरस्कारों, एमएसएमई पुरस्कारों और स्टार्टअप पुरस्कारों के तहत प्रौद्योगिकियों के व्यावसायीकरण के लिए राष्ट्रीय पुरस्कारों के लिए आवेदन मांगता है। ये पुरस्कार विभिन्न उद्योगों को अभिनव स्वदेशी प्रौद्योगिकी के सफल व्यावसायीकरण के लिए प्रदान किए जाते हैं।